सागर शर्मा शिवपुरी:खबर शिवपुरी के सुभाषपुरा थाना क्षेत्र में 23 जुलाई को हुए अजय तोमर हत्याकांड का पुलिस ने खुलासा किया है। हत्या का मास्टरमाइंड अजय का सगा भाई भानू तोमर है। भानू इंदौर में एएसआई के पद पर कार्यरत है। भानू ने अजय को एक नाबालिग लड़की के जरिए जाल में फंसाया और शूटर्स को एक लाख रुपए में सुपारी देकर मरवा दिया। उसका अंतिम संस्कार करवाने के तीन दिन बाद बैंकॉक चला गया।
पुलिस जांच में पता चला है कि हत्या के पीछे की मुख्य वजह पुराना विवाद है। अजय ने 2017 में ग्वालियर में अपने पिता पुलिस निरीक्षक हनुमान तोमर की गोली मारकर हत्या कर दी थी। उसने भानू पर भी जानलेवा हमला किया था। अजय को आजीवन कारावास की सजा हुई और वह ग्वालियर केंद्रीय जेल में बंद था। वह 14 जुलाई 2025 को पैरोल पर बाहर आया था। इधर, भानू को पिता की जगह अनुकंपा नियुक्ति मिल गई थी।
भानू ने बदले की भावना से ग्वालियर के अपराधी धर्मेंद्र कुशवाह को एक लाख रुपए में सुपारी दी। धर्मेंद्र पहले भी हत्या के आरोप में जेल में रह चुका है। वहीं, उसकी मुलाकात अजय तोमर से हुई थी। धर्मेंद्र ने भानू के दूर के रिश्तेदार मोनेश तोमर की मदद से एक नाबालिग लड़की को इंदौर से बुलवाकर अजय से दोस्ती करवाई।
वारदात की 4 तस्वीरें...
अजय की खून से लथपथ लाश कार के अंदर मिली थी।अजय को अस्पताल ले जाया गया था। इसके बाद पोस्टमार्टम कराया गया।
लड़की ने वॉशरूम के बहाने कार रुकवाई थी
अजय 23 जुलाई को कार से शिवपुरी से ग्वालियर जा रहा था। लड़की उसके साथ थी। भानू और धर्मेंद्र कुशवाह उनका पीछा कर रहे थे। लड़की ने नयागांव तिराहे के पास वॉशरूम के बहाने कार रुकवाई, तभी भानू और धर्मेंद्र ने अजय पर ताबड़तोड़ गोलियां बरसा दीं, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई।
एक गैंगरेप केस में सहआरोपी थी लड़की
पुलिस ने मामले में तीन आरोपियों- शूटर धर्मेंद्र कुशवाह, सहयोगी मोनेश तोमर और लड़की को गिरफ्तार कर लिया है। धर्मेंद्र ने वारदात करना कबूल कर लिया है। हत्या में प्रयुक्त 315 बोर का कट्टा व एक अंगूठी पुलिस को सौंप दी है। जांच में यह भी खुलासा हुआ कि आरोपी लड़की पहले इंदौर के बालिका संप्रेक्षण गृह से फरार थी। वो एक गैंगरेप केस में सहआरोपी भी थी।
एएसआई को भारत लाने की कोशिश जारी शिवपुरी एसपी अमन सिंह राठौड़ ने बताया कि भानू तोमर के खिलाफ लुकआउट सर्कुलर जारी करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। साथ ही पासपोर्ट जब्ती, इमिग्रेशन अलर्ट और विदेश मंत्रालय से संपर्क कर उसे भारत वापस लाने की कोशिश की जा रही है।
अजय ने पिता के सिर में चार गोलियां मारी थी
अजय तोमर और भानू तोमर के पिता हनुमान सिंह तोमर मंडला में पदस्थ थे। हनुमान छुट्टी में घर आए थे, तब अजय ने उनके सिर में चार गोलियां मारी थीं। हनुमान सिंह की पत्नी शकुंतला देवी तोमर ने 24 मई 2017 को अपने छोटे बेटे भानू प्रताप के साथ जाकर महाराजपुरा थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। हत्या के पीछे उन्होंने संपत्ति का विवाद होना बताया था।
उन्होंने ये भी बताया था कि 23 मई को जब उनके पति रात में 10 बजे ड्राइंग रूम में आराम कर रहे थे, तभी अजय अपनी पत्नी के साथ घर आया। थोड़ी कहासुनी के बाद बेटे ने कट्टे से गोली चलाई जो उसके पति के सिर में जाकर लगी। आवाज सुनकर वह किचिन के गेट पर आई, तब तक अजय ने और गोलियां चला दीं। आवाज सुनकर छोटा बेटा भानू बचाने आया तो उसपर भी कट्टे से फायर कर दिया। पति की हत्या करने के बाद अजय भाग गया। वह और छोटा बेटा पति को इलाज के लिए बिरला अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया था।
घटना की पूरी टाइमलाइन
23 मई 2017: अजय तोमर ने ग्वालियर में अपने पिता और
पुलिस निरीक्षक हनुमान तोमर की गोली मारकर हत्या कर दी। इसी घटना में उसने अपने भाई भानू पर भी जानलेवा हमला किया।
2017 के बादः अजय तोमर को आजीवन कारावास की
सजा हुई और वह ग्वालियर केंद्रीय जेल में बंद किया गया। भानू तोमर को पिता की अनुकंपा नियुक्ति से इंदौर पुलिस में एएसआई के पद पर नियुक्ति मिली।
14 जुलाई 2025: अजय तोमर को पैरोल पर रिहा किया गया। भानू ने बदले की योजना बनाई और ग्वालियर के अपराधी धर्मेंद्र कुशवाह को एक लाख रुपए में सुपारी दी।
14-23 जुलाई 2025: धर्मेंद्र ने मोनेश तोमर की मदद से
एक नाबालिग लड़की के जरिए अजय को फंसाने की योजना बनाई।
23 जुलाई 2025: शिवपुरी के नयागांव तिराहे पर अजय तोमर की गोली मारकर हत्या कर दी गई।
26 जुलाई 2025: एएसआई भानू तोमर बैंकॉक फरार हो गया। वारदात से पहले एएसआई को आए फोन कॉल्स की भी जांच की जा रही है।
अगस्त 2025: पुलिस ने तीन आरोपियों धर्मेंद्र कुशवाह, मोनेश तोमर और नाबालिग लड़की को गिरफ्तार किया।
3 अगस्त 2025: भानू तोमर के खिलाफ लुकआउट
सर्कुलर जारी किया जा रहा है और उसे भारत वापस लाने की कोशिश जारी है।